सीएम ममता बनर्जी का भाजपा के बंगाल बंद पर तीखा हमला, दुष्कर्मियों के खिलाफ सख्त कानून लाने का ऐलान.
पश्चिम बंगाल में भाजपा द्वारा आहूत बंगाल बंद के बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक तीखा हमला किया है। ममता ने आरोप लगाया कि इस बंद का मुख्य उद्देश्य बंगाल की छवि को खराब करना है और यह आरजी कर अस्पताल में हुए बलात्कार और हत्या की जांच को प्रभावित करने की साजिश है।
पश्चिम बंगाल में भाजपा द्वारा आहूत बंगाल बंद के बाद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक तीखा हमला किया है। ममता ने आरोप लगाया कि इस बंद का मुख्य उद्देश्य बंगाल की छवि को खराब करना है और यह आरजी कर अस्पताल में हुए बलात्कार और हत्या की जांच को प्रभावित करने की साजिश है। कोलकाता में टीएमसी छात्र संघ की रैली को संबोधित करते हुए, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि अगर राज्य सरकार के पास पर्याप्त शक्ति होती, तो वह डॉक्टर की हत्या के आरोपियों को सिर्फ सात दिनों के भीतर मौत की सजा दिला देती। ममता ने कहा कि राज्य सरकार इस मुद्दे को लेकर किसी भी प्रकार की ढिलाई नहीं बरतेगी और मृत डॉक्टर के आरोपियों को मृत्युदंड दिलाने के लिए एक आंदोलन शुरू करेगी।
खबर भी पढ़ें : कोलकाता बलात्कार-हत्या मामले पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु की पहली प्रतिक्रिया: ‘बस बहुत हो गया’, सख्त कदम उठाने की आवश्यकता.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने ऐलान किया कि अगले सप्ताह विधानसभा का विशेष सत्र बुलाया जाएगा जिसमें दुष्कर्मियों को 10 दिनों के भीतर मृत्युदंड देने के लिए एक विधेयक पारित किया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि यदि राज्यपाल इस विधेयक को मंजूरी नहीं देते हैं, तो टीएमसी राजभवन के बाहर धरना देगी। ममता ने इस विधेयक की पारितगी को अनिवार्य बताया और कहा कि राज्यपाल को जवाबदेही से नहीं बचना चाहिए। ममता बनर्जी ने आरजी कर अस्पताल की घटना के संदर्भ में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक पत्र लिखकर दुष्कर्म के मामलों में त्वरित न्याय और कठोर सजा की मांग की थी। उन्होंने पत्र में लिखा था कि देश में दुष्कर्म के मामलों को लेकर सख्त कानून बनाए जाने की आवश्यकता है ताकि दोषियों को कठोरतम सजा मिल सके।
खबर भी पढ़ें : जम्मू कश्मीर विधानसभा चुनाव 2024: पहले चरण में 24 सीटों के लिए 280 नामांकन दाखिल हुए.
ममता बनर्जी का यह बयान और उनकी कार्रवाई का इरादा साफ है कि वह दुष्कर्म और हत्या के मामलों में कठोर कदम उठाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। बंगाल बंद पर उनकी तीखी प्रतिक्रिया और नए कानून की घोषणा यह संकेत देती है कि उनकी सरकार इस मुद्दे को अत्यंत गंभीरता से ले रही है और न्याय के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को दिखाने का प्रयास कर रही है।